Vedanta में अभी निवेश नहीं किया तो फिर यह स्टॉक हाथ में नहीं आएगा, जानिए इसकी वजह – vedanta stocks if you do not invest today this stock may go beyond your reach in future
वेदांता लिमिटेड में कुछ खास स्थितियां बनती दिख रही हैं। ऐसे में इस स्टॉक की रिरेटिंग हो सकती है। इस हफ्ते की शुरुआत में वेदांता के शेयरहोल्डर्स और क्रेडिटर्स ने डीमर्जर प्लान को मंजूरी दे दी। वेदांता के मैनेजमेंट का मानना है कि डीमर्जर की प्रक्रिया अगले वित्त वर्ष की पहली तिमाही तक पूरी हो जाएगी। वेदांता के बोर्ड ने तो पिछले साल सितंबर में ही डीमर्जर के प्लान को एप्रूव कर दिया था। स्टॉक एक्सचेंजों से पहले ही इस प्लान को नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट (एनओसी) मिल चुका है।बेस मेटल यूनिट डीमर्ज नहीं होगीपहले वेदांता की लिस्टेड कंपनियों को अलग-अलग छह लिस्टेड कंपनियों में बांटने का प्लान था। लेकिन, इस साल की शुरुआत में कंपनी ने कहा कि वह अपनी बेस मेटल यूनिट को डीमर्ज नहीं करेगी। उसने कहा था कि इस बारे में भविष्य में बिजनेस मैच्योर करने पर फैसला लिया जाएगा। इससे शेयरहोल्डर्स के लिए अच्छी वैल्यू क्रिएट करने में मदद मिलेगी।संबंधित खबरेंशेयरहोल्डर्स को नई कंपनियों के 1-1 स्टॉक मिलेंगेडीमर्जर के बाद वेदांता के शेयरहोल्डर्स को 5 नई कंपनियों में से प्रत्येक के 1-1 शेयर मिलेंगे। इन कंपनियों का फोकस एल्युमीनियम, ऑयल एंड गैस, पावर, स्टील और आयरन बिजनेस पर होगा। पहले से लिस्टेड कंपनी के तहत घरेलू और अंतरराष्ट्रीय जिंक और कॉपर बिजनेस आएगा।वेदांता लिमिटेड में ज्यादा दिलचस्पीब्रोकरेज फर्म एमके के मुताबिक, निवेशकों की ज्यादा दिलचस्पी अभी लिस्टेड वेदांता लिमिटेड में होगी। साथ ही एल्युमीनियम और पावर कंपनियों में भी उनकी दिलचस्पी होगी। अगर वैल्यूएशन की बात की जाए तो वेंदाता में अभी एंटरप्राइज वैल्यू और EBITDA के पांच गुने से कम पर ट्रेडिंग हो रही है। हालांकि, डीमर्जर के बाद कंपनियों का मल्टीपल ज्यादा यानी करीब 6 से 7 गुना हो सकता है। यह बिजनेस के नेचर पर निर्भर करेगा।एल्युमीनियम बिजनेस से आएगी ज्यादा वैल्यूज्यादा वैल्यू एल्युमीनियम बिजनेस से आने वाली है। यह बिजनेस मजबूत स्थिति में है। इसका फोकस एल्युमिमा, कोल और बाक्साइट की कैपिटल सोर्सिंग पर रही है, जिससे एल्युमीनियम की प्रोडक्शन कॉस्ट घट जाएगी। वेदांता लिमिटेड में जिंक बिजनेस भी आएगा। इसमें हिंदुस्तान जिंक में 63 फीसदी हिस्सेदारी भी शामिल होगी। साथ ही इसके इंटरनेशनल जिंक बिजनेस की भी हिस्सेदारी होगी। हालांकि, बंद बड़े कॉपर ऑपरेशन के लिए थोड़ी निगेटिव वैल्यू मिल सकती है।वेदांता के शेयरहोल्डर्स को होने वाला है बड़ा फायदापावर, आयरन और स्टील बिजनेसेज के साथ ऑयल और गैस का मल्टीपल 5.5 से 6 गुना के बीच रह सकता है। इस तरह, इंडिविजुअल बिजनेसेज की एंटरप्राइज वैल्यू का कुल जोड़ करीब 2.7 लाख करोड़ रुपये होगा। यह मौजूदा एंटरप्राइज वैल्यू से ज्यादा है। इसमें बुक्स का नेट डेट शामिल नहीं है। इसका मतलब है कि अगले छह महीनों में शेयरहोल्डर्स को अच्छा मुनाफा हो सकता है। इसका यह भी मतलब है कि शॉर्ट टर्म में वेदांता का प्रदर्शन प्रतिद्वंद्वी कंपनियों के मुकाबले बेहतर रह सकता है। 21 फरवरी को वेदांता के शेयरों में तेजी देखने को मिली। यह 0.40 फीसदी चढ़कर 439 रुपये पर चल रहा था।